तूर दाल | अरहर दाल | Toor Dal
तूर दाल के विषय में –
दशकों पहले के समय में ही कर्नाटक में उगने वाले मसाले भारत के बाहर यूरोप तक के रसोईघरों में काफी प्रचलित रहे हैं। उस वक्त कर्नाटक में उगने वाले मसालों को दूसरे राज्यों जैसे केरल और मुम्बई से समुद्री रास्तों के जरिए यूरोप में निर्यात किया जाता था। कर्नाटक में काली मिर्च, इलाइची, दालचीनी, लौंग आदि मसाले ज्यादातर उगाए जाते हैं। आज भी कर्नाटक भारत में सबसे अधिक काली मिर्च उगाने वाला राज्य है। कालाबुरागी एक जिला है जो कर्नाटक राज्य के ही उत्तर में स्थित है। कालाबुरागी को खास तूर दाल के लिए जाना जाता है जिसे उत्तर भारत में अरहर की दाल कहा जाता है।
कालाबुरागी की अन्य फलसें –
• कालाबुरागी में काली मिट्टी प्रमुख रूप से पाई जाती है।
• काली मिट्टी दालों, तिलहन और आनाज की फसलों के लिए सबसे बेस्ट होती है।
तूर दाल को GI Tag
• कालाबुरागी जिला तूर दाल का एक प्रमुख उत्पादक क्षेत्र है।
• कालाबुरागी के 70 प्रतिशत कृषि क्षेत्र पर सिर्फ तूर दाल ही उगाई जाती है।
• पूरे कर्नाटक राज्य में तूर दाल की खेती की 40% खेती कलाबुरागी में होती है।
तूर दाल की विशेषता –
• कैल्सियम और पोटेशिमय से भरपूर।
• लंबे समय तक स्टोर की जा सकती है।
• अपने स्वाद और खास खुशबू के करण प्रसिद्ध।
• सामान्य दाल की तुलना में इसे पकाने में समय कम लगता है।
• अनपोलिस्ड दाल मलतब कोई बाहरी चमक दाल को नहीं दी जाती।
तूर दाल के व्यंजन
सांभर में मिलाएं
पत्तेदार दाल
तड़का दाल
इडली बनाएं
चीला
तूर दाल के फायदे
इम्यूनिटी मजबूत
पाचनतंत्र करे मजबूत
इम्यूनोमॉड्यूलेटरी गुण
फाइबर और प्रोटीन से भरपूर
वजन कंट्रोल करने में मदद